आईबी ने दिए थे दो अलर्ट, फिर भी मुस्तैदी नहीं: लुधियाना में प्रशासनिक लापरवाही की वजह से हुआ आतंकी हमला, अब लकीर पीट रहे अधिकारी
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लुधियानाएक घंटा पहले
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लुधियाना में ब्लास्ट के बाद जांच करती टीमें।
लशकर ए तायबा द्वारा पंजाब में बड़ा विस्फोट करने का इनपुट इंटेलिजेंस ब्यूरो (IB) की तरफ से दो अलर्ट दिए गए थे। पहला अलर्ट 9 दिसंबर और दूसरा अलर्ट 14 दिसंबर को आया था। डायरेक्टर जरनल आफ पुलिस (DGP) की तरफ से सभी ADGP, IGP, DIG को पत्र लिखकर इस संबंधी अलर्ट जारी किया था।
एनएसजी का बम डिस्पोजल वाहन।
IB की तरफ से कहा गया था कि दो सिख आतंकी करतारपुर कॉरीडोर के माध्यम से पंजाब में दाखिल हुए हैं, जो पाकिस्तान से कमांडो ट्रेनिंग लेकर आए हुए हैं। पाकिस्तान की एजेंसी ISI की तरफ से लशकर एक तायबा को नया टास्क दिया गया है और वह इसके लिए काम कर रहे हैं। पंजाब के गुरदास, पठानकोट और अन्य शहरों में आतंकी हमले हो सकते हैं।
लुधियाना में ब्लास्ट के बाद वाहनों की तलाशी लेती पुलिस।
अलर्ट को सीरियस नहीं लिया तभी हुआ धमाका
IB के अलर्ट को स्थानीय प्रशासन की तरफ से सीरियस नहीं लिया गया था। यहां पर किसी भी तरह का कोई प्रबंध नहीं था। इसी लिए ब्लास्ट के लिए लघु सचिवालय जो प्रशासनिक अधिकारियों का गढ़ है, वहां पर डिप्टी कमिश्नर वरिंदर शर्मा, पुलिस कमिश्नर गुरप्रीत भुल्लर और तमाम पुलिस अफसरों के कार्यालय हैं। यहां तक के जिला कोर्ट काम्प्लैक्स में लगे दो मेटल डिटेक्टर तक नहीं चल रहे थे।
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