आगर आपका मास्क का चालान हुआ है तो आप भी वसूल सकते हैं २ हज़ार के २ लाख से भी ज्यादा
आगर आपका मास्क का चालान हुआ है तो आप भी वसूल सकते हैं २ हज़ार के २ लाख से भी ज्यादा
आम आदमी की एक खास समस्या मास्क न लगाने पर चालन वो भी 2000 रुपये का, वो भी ऐसे समय में जब परेशानियों का दौर चल रहा है कमाई नहीं, और कमाई हुई पूंजी में ख़तम हो चुकी है.
वही सरकार जो कहती है पानी फ्री, बिजली फ्री, दवा फ्री, पढाई फ्री , बोतल के साथ बोतल फ्री , वही सरकार आम लोगो से मास्क के नाम पर अरबो रुपये वसूल चुकी है
बाकायदा सिविल डिफेंस के लोगो को हायर करके उन्हें चालान कमीशन देके, ये मोटी कमाई कर रही है
क्या है इसका कानून। क्या ऐसे वसूली की जासकती है ,जबकि सेंट्रल गोवेर्मेंट का ऐसा कोई नियम नहीं।
चलिए ये सब तो आप जानते ही है साथ ही, मैं मास्क पर भी कई वीडियोज में बना चुका हूँ
अब काम की बात ये है यदि आपका चालान हुआ है तो अब आप क्या कर सकते हैं. 2000 तो इन्होने वसूल लिए आप से अब आपकी बारी बनती है
जैसे इन्होने अपनी तरफ से कानून की खिलाफ जाकर आपसे वसूले हैं, आप सही क़ानून के तहत इनसे लाखो वसूल सकते हैं,
तो चलिए जानते है कैसे ?
१-डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट 2005 (आपत्ति निवारण कानून ) के अनुसार के अनुसार किसी को कोई भी फाइन लेने का प्रोविजन नहीं है इस कानून के अनुसार, यदि कोई आदेश को नहीं मानता तो उसको सजा का प्रावधान है और सजा देने के लिए भी पुलिस को कोई अधिकार नहीं है, अगर कोई इस कानून का उलंघन कर भी देता है तो इसमें कंप्लेंट होगी कोर्ट में, अर्थात कोर्ट केस चलेगा थाने और पुलिस से इसका कोई मतलब नहीं है
जैसा की मैंने बताया कि डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट में फाइन का प्रोविजन नहीं है, तो कोई अथॉरिटी चाहे, वो डीएम हो, या SDM या कोई भी फाइन वसूल ने का आर्डर पास नहीं कर सकता ,ये सुप्रीम कोर्ट का आर्डर हैं और ये अथॉरिटी सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ जाकर आर्डर पास करता है तो उसको तो सजा होनी ही है क्योकि इसे एक्सटॉर्सन कहा जाएगा
अब करना क्या है जिसका चालान कटा है उसको हाईकोर्ट में एक रिट फाइल करनी है जिसके बाद,हाई कोर्ट आर्टिकल 226 के अनुसार फाइन करने के साथ कम से कम 2 से 3 लाख का कम्पनसेशन दिलाता है स्टेट से, और इसकी भरपाई कराइ जाती है उस अधिकारी, उस पुलिस अफसर और उसके नुमाइंदों से,
19 जनवरी 22 औरंगाबाद हाई कोर्ट का डिसीजन भी आया है वाक्या ये है कि
सिविल डिफेन्स वाले ने मास्क का चालान मांगा तो व्यक्ति ने मना किया कि रफत अली खान का जजमेंट है,मैं नहीं दूंगा, तो सिविल डिफेन्स वाला उसे पुलिस स्टेशन लेगया जंहा पुलिस ने 186 ,188 का सेक्शन लगाकर FIR करके चार्जशीट दाखिल की, अब उस व्यक्ति ने हाई कोर्ट में रिट लगाई तो कोर्ट ने कहा कि सिविल डेफ्फिन्स वाले लोग पब्लिक सर्वेंट नहीं है तो, आपने 186 गलत तरीके से इस व्यक्ति पर लगाया और दूसरा सेक्शन लगाया 188 जिसमे पुलिस को FIR लगाने का अधिकार ही नहीं है, जिसने आदेश किया है वह कोर्ट में कंप्लेंट देगा तुमने कैसे FIR की.उस व्यक्ति को कम्पनसेशन मिला पुलिस और अधिकारिओं को सजा मिली
जो लोग इनबोंड चालान का रूल लाने में, चाहे वह सिविल डिफेंस वाले हो, चाहे पुलिस वाले, चाहे कोई भी अधिकारी चाहे मुख्यमंत्री उन पर IPC 211,385,220,120B,34,52,109 सेक्शन में कार्यवाही होगी
और सेक्शन २२० के तहत 7 साल की जेल का प्रावधान हैं और अन्य धाराओं में इन सबकी पॉपर्टी में से वसूली करके सब लोगो को चालान के पैसे, साथ में दो चार लाख का कम्पनसेशन भी देना पड़ेगा हर उस व्यक्ति को जिसका 2 हज़ार रुपये का चालान कटा है
इसलिए डरे नहीं और खुस होजाये आप भी आपके २ हजार के बदले मिल सकते है कई लाख रुपये, बस इसके लिए कोर्ट जाने की देर है
इसलिए कानून को समझिये उस से डरिये मत कानून आपके लिए है इसका फायदा उठाई ये
mask ka challan,mask law india,mask rules in car in india,mask rules in car in delhi,fine for not wearing mask in car in delhi,how get rid from mask fine,mask ke fine se kase bachen,mask ka fine ke rules,mask na lagane par chalan