झारखंड में जज की हत्या का आरोपी गिरफ्तार: ऑटो चालक ने गुनाह कबूला, केस की जांच SIT करेगी; हाईकोर्ट ने कहा- कोताही हुई तो केस CBI को सौंपेंगे
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धनबाद4 घंटे पहले
झारखंड के धनबाद में अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश उत्तम आनंद की हत्या की मामले में 2 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। पुलिस का कहना है कि इनमें से एक ने अपना गुनाह कबूल कर लिया है। झारखंड पुलिस के प्रवक्ता अमोल बी होमकर ने बताया कि ऑटो चालक लखन वर्मा और उसके सहयोगी राहुल वर्मा को गिरफ्तार किया गया है। लखन ने स्वीकार किया है कि उसने ऑटो से जज को धक्का मारा था।
ADG ऑपरेशन संजय आनंद लाटकर की अगुआई में SIT का गठन किया गया है। इस टीम में बोकारो DIG और SSP धनबाद को भी शामिल किया गया है। धनबाद पुलिस की फोरेंसिक टीम और CID भी तफ्तीश में जुटी है।
हाईकोर्ट जांच की निगरानी करेगा
इस मामले में धनबाद के जज ने हाईकोर्ट को लेटर लिखा था। इस पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने DGP और धनबाद के SSP को तलब कर पूरे मामले की जानकारी ली। सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने कहा कि अगर इस मामले की जांच में किसी भी वक्त लगा कि कोताही हो रही है तो इसे CBI को सौंप दिया जाएगा।
चोरी के ऑटो से मारा गया था धक्का
धनबाद पुलिस ने जज को टक्कर मारने वाले ऑटो को बुधवार देर रात गिरिडीह से बरामद कर लिया। जांच में पता चला है कि ऑटो मंगलवार को चोरी हुआ था और बुधवार सुबह 5.08 बजे जज उत्तम आनंद को टक्कर मार दी गई। वे सुबह पांच बजे वॉक पर निकले थे। बाद में घर से कुछ दूरी पर ही वे खून से लथपथ मिले। घटना के डेढ़ घंटे के बाद कुछ युवकों ने जज को अस्पताल पहुंचाया। वहां इमरजेंसी में घंटे भर इलाज के बाद उन्हें सर्जिकल ICU में भर्ती किया गया और सुबह 9.30 बजे उनकी मौत हो गई।
धनबाद SSP ने गुरुवार शाम प्रेस कांफ्रेंस कर मामले का खुलासा जल्द करने का दावा किया। पुलिस हिरासत में आरोपी लखन और राहुल।
गैंगस्टर समेत 15 अपराधियों का केस देख रहे थे उत्तम आनंद
उत्तम आनंद होटवार जेल में बंद गैंगस्टर समेत 15 बड़े अपराधियों के मामलों की सुनवाई कर रहे थे। उनके पास लंबित केसों में कई हाई प्रोफाइल मर्डर और आदतन अपराधियों के मुकदमे भी शामिल थे। उन्होंने दो मामलों में दो सगे भाइयों समेत तीन लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई थी। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट के जज उत्तम आनंद के सिर पर भारी चीज से चोट के निशान मिले हैं।
हादसे की सूचना के बाद जज उत्तम आनंद के रिश्तेदार और न्यायिक पदाधिकारी अस्पताल पहुंचे थे।
जज को टक्कर मारने के आधे घंटे बाद ही ऑटो गोविंदपुर में पेट्रोल पंप पर देखा गया था। CCTV फुटेज में इस बात का पता चला है।
सुप्रीम कोर्ट ने फिलहाल दखल से इनकार किया
सुप्रीम कोर्ट में भी यह मामला उठाया गया। पूर्व एडिशनल सॉलिसिटर जनरल विकास सिंह ने केस की CBI जांच करवाने की अपील की। इस पर CJI एनवी रमना ने कहा कि इस मामले में झारखंड हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस डॉ. रविरंजन से बात की है। हाईकोर्ट ने पुलिस और जिला प्रशासन के अधिकारियों को नोटिस जारी किया है। फिलहाल उन्हें ही केस हैंडल करने दीजिए, अभी हमारे दखल की जरूरत नहीं है।
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