कैप्टन के दांव से चिंतित कांग्रेस: CM चन्नी को फिर दिल्ली बुलाया; राहुल गांधी के बाद बड़े नेताओं से मीटिंग, पंजाब कांग्रेस की हालत पर मंथन
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चंडीगढ़24 मिनट पहले
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CM बनने के बाद चरणजीत चन्नी के लगातार दिल्ली चक्कर लग रहे हैं।
कैप्टन अमरिंदर सिंह के सियासी दांव से कांग्रेस की चिंता बढ़ गई है। कांग्रेस हाईकमान ने सीएम चरणजीत चन्नी को फिर दिल्ली बुला लिया। वह कल ही राहुल गांधी से मिलकर पंजाब लौटे थे। दिल्ली में उनकी मुलाकात अंबिका सोनी और अजय माकन से हो चुकी है। इसके अलावा भी कई बड़े नेताओं से मीटिंग होने वाली है। उनके साथ पंजाब कांग्रेस के इंचार्ज हरीश चौधरी भी हैं। यह पूरा मामला पूर्व सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह के कांग्रेस छोड़ने के ऐलान के बाद शुरू हुआ है।
सूत्रों की मानें तो अमरिंदर जिस तरह से अपने काम के दावे कर रहे हैं, उससे कांग्रेस हाईकमान में बड़ी हलचल है। अमरिंदर को हटाने के बाद पंजाब में कांग्रेस के नुकसान को लेकर चिंता बनी हुई है। कांग्रेसी भी मानते हैं कि भले ही अमरिंदर नई पार्टी बना कोई खास कमाल न कर सकें लेकिन कांग्रेस का रास्ता जरूर मुश्किल होगा।
कैप्टन अमरिंदर सिंह
अमरिंदर के लिए बदला हाईकमान का नजरिया !
सूत्रों की मानें तो अभी तक कांग्रेस हाईकमान नवजोत सिद्धू पर आंख मूंदकर भरोसा कर रही थी। हालांकि सिद्धू के अचानक फैसले लेने के रवैये से वे भी आहत हैं। खासकर, कैप्टन की वजह से हटाए गए 4 मंत्री राणा गुरमीत सोढ़ी, साधु सिंह धर्मसोत, बलबीर सिद्धू और शाम सुंदर अरोड़ा ने भी राहुल से मुलकात की। जिसमें उन्होंने पंजाब में कैप्टन के बगैर कांग्रेस की हालत और सिद्धू के रवैये को लेकर पूरी जानकारी दी है। जिसके बाद माना जा रहा है कि कांग्रेस हाईकमान का नजरिया बदला है। खुद सोनिया गांधी के अमरिंदर को लेकर सक्रिय होने की चर्चा है।
नवजोत सिद्धू
सिद्धू से नाखुश हाईकमान, विकल्प के बारे में भी सोच रही कांग्रेस
सूत्रों की मानें तो कांग्रेस हाईकमान नवजोत सिद्धू से नाखुश है। पंजाब में चुनाव को लेकर कुछ महीने बचे हैं। अकाली दल लगातार प्रचार कर रहा है। आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल भी कई दौरे कर चुके हैं। भाजपा के केंद्रीय मंत्री चंडीगढ़ आ चुके हैं। कांग्रेस के लिहाज से अभी तक सब जीरो है। इससे हाईकमान की चिंता बढ़ी हुई है। सिद्धू ने पहले भी अचानक इस्तीफा दे दिया। फिर सोनिया गांधी को लेटर लिख सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दिया। कांग्रेस भवन से दूरी बना ली और अब संगठन तक नहीं बना रहे। ऐसे में कांग्रेस को चुनावी हार की चिंता सता रही है। हाईकमान सीएम चन्नी से मिलकर विकल्प को लेकर भी टटोल रहा है।
चर्चा है कि कांग्रेस हाईकमान और खासकर सोनिया अमरिंदर को लेकर सक्रिय हुई हैं
शाह से मीटिंग टलने पर मिला मौका
कांग्रेस अमरिंदर के हर दांव पर नजर टिकाए बैठी है। अमरिंदर प्रेस कान्फ्रेंस के बाद सीधे दिल्ली चले गए। वहां उनकी केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात होनी थी। हालांकि यह मुलाकात टल गई। शाह गुजरात में 31 अक्टूबर के कार्यक्रम को लेकर व्यस्त हैं। ऐसे में चर्चा है कि इसी मौके को कांग्रेस भुनाना चाहती है। वह अमरिंदर को कांग्रेस में ही रोकने की इच्छुक है ताकि नई पार्टी बना वो पंजाब में नुकसान न करें। अमरिंदर ने भी अभी कांग्रेस छोड़ी नहीं है। उन्होंने कहा था कि 50 साल से कांग्रेस में हैं, 10 दिन और रह लेंगे तो क्या बिगड़ जाएगा।
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