सरहद पर नापाक साजिश: घाटी में आतंकियों के हाथ लग सकते हैं तालिबान के लूटे अमेरिकी हथियार, माहौल बिगाड़ने की फिराक में ISI
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नई दिल्ली37 मिनट पहले
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पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी ISI सरहद पर अपनी नापाक साजिश को अंजाम देने की कोशिश कर सकती है। इतना ही नहीं तालिबान के नाम पर वह जम्मू-कश्मीर में जेहादी ताकतों को उकसाकर बड़ी साजिश रचने की फिराक में है।
इसके लिए वह अफगानिस्तान में लूटे गए अमेरिकी हथियारों का भी इस्तेमाल कर सकता है। बॉर्डर सिक्योरिटी फोर्स (BSF) के डीजी पंकज कुमार सिंह ने ये बातें कही हैं।
अर्धसैनिक बल के 57वें स्थापना दिवस से एक दिन पहले पंकज सिंह ने कहा कि तालिबान के कैडर अब आजाद हैं। उनके पास हथियार भी हैं। इसलिए यह चिंता का विषय है। हम पूरी तरह तैयार हैं और अपनी सहयोगी एजेंसियों के संपर्क में भी हैं।
BSF के DG पंकज कुमार सिंह और SDG एसएल थाओसेन दाएं।
पाकिस्तान सीमा पर अब तक 67 ड्रोन दिखे
बीएसएफ प्रमुख ने कहा कि इस साल अब तक पाकिस्तान के साथ भारत की पश्चिमी सीमा पर कम से कम 67 ड्रोन देखे जा चुके हैं। अभी हमारे देश में आने वाले ड्रोन की संख्या काफी कम है। ये सभी चीन में बने ड्रोन हैं। ये बहुत अच्छे हैं और छोटे पेलोड ले जा रहे हैं। हालांकि 95% मामलों में वे ड्रग्स ले जा रहे हैं। हमनें पाकिस्तान के दो ड्रोन भी मार गिराए हैं। कई बार हथियार भी पकड़े गए हैं। हालांकि पूरी दुनिया में ड्रोन को रोकने या उन्हें निष्क्रिय करने का कोई तरीका नहीं है।
लेटेस्ट एंटी ड्रोन सिस्टम की जरूरत
सिंह ने कहा कि हमने बॉर्डर पर कुछ खास किस्म के एंटी ड्रोन सिस्टम तैनात किए हुए हैं लेकिन सीमा पार से जारी हरकतों को खत्म करने के लिए लेटेस्ट सिस्टम की जरूरत है। इस पर काम भी हो रहा है। जल्द ही हमारे पास ऐसे सिस्टम होंगे। उन्होंने कहा कि पूरे 2,300 किलोमीटर (भारत-पाकिस्तान सीमा) को एंटी ड्रोन सिस्टम के साथ कवर करने में थोड़ा समय जरूर लगेगा, लेकिन यह मुमकिन होगा।
घुसपैठ को लेकर भी BSF अलर्ट
सिंह ने घाटी में आतंकी घुसपैठ को लेकर भी अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि आतंकी सीमा से लगी बाड़ से करीब 100 मीटर नीचे बनी सुरंगों के जरिए भारत में आने की कोशिश करते हैं। ये सुरंग 30 फीट गहरी होती है। इसकी चौड़ाई और ऊंचाई 3 से 4 फीट के करीब होती है। हम आतंकियों के इस पैटर्न को लेकर भी तकनीकी रूप से काम कर रहे हैं। इसे और बेहतर ढंग से पकड़ने के लिए नए तरीकों पर भी रणनीति तैयार की जा रही है।
तालिबान ने इसी साल 2 सितंबर को कांधार विक्ट्री परेड मनाया था। इस दौरान तालिबान ने अमेरिकी हथियारों की प्रदर्शनी की थी।
पाकिस्तान बॉर्डर पर दिखे थे अमेरिकी बख्तरबंद वाहन
अगस्त में अफगानिस्तान पर तालिबानी कब्जे के बाद लड़ाकों ने अमेरिकी हथियार लूट लिए थे। कई बख्तरबंद वाहन और सैन्य उपकरण पाकिस्तान की सीमा पर भी देखे गए थे। उस दौरान डिफेंस एक्सपर्ट्स ने इस बात की चिंता जताई थी कि ये हथियार पाकिस्तान को बेचे जा सकते हैं और पड़ोसी मुल्क इनका इस्तेमाल भारत के खिलाफ कर सकता है।
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