जालंधर के संगीत गुरु धर्मेंद्र कथक का निधन: 38 साल में तैयार किए कई सिंगिंग स्टार, मास्टर सलीम व सुगंधा मिश्रा से लेकर ज्योतिका टांगरी को भी सिखाए थे गुर

जालंधर के संगीत गुरु धर्मेंद्र कथक का निधन: 38 साल में तैयार किए कई सिंगिंग स्टार, मास्टर सलीम व सुगंधा मिश्रा से लेकर ज्योतिका टांगरी को भी सिखाए थे गुर

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जालंधर9 मिनट पहले

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जालंधर के संगीत गुरु धर्मेंद्र कथक का निधन: 38 साल में तैयार किए कई सिंगिंग स्टार, मास्टर सलीम व सुगंधा मिश्रा से लेकर ज्योतिका टांगरी को भी सिखाए थे गुर

म्यूजिक डायरेक्टर धर्मेंद्र कथक।

जालंधर के मशहूर संगीत गुरु धर्मेंद्र कथक का शनिवार को निधन हो गया। उनकी उम्र करीब 55 साल थी। कथक क्लासिकल म्यूजिक से जुड़े एक बड़े नाम थे। गायक मास्टर सलीम जैसे दिग्गजों के साथ सुगंधा मिश्रा, नवराज हंस व टीवी रियलिटी शो की चर्चित गायिका ज्योतिका टांगरी को भी उन्होंने संगीत के गुर सिखाए थे। वह पिछले 38 साल से संगीत की दुनिया में सक्रिय थे। जिस दौरान उन्होंने कई सिगिंग स्टार तैयार किए, जिन्होंने रियलिटी शो में जाकर जालंधर का नाम रोशन किया।

परिजनों के मुताबिक पिछले कुछ दिन से उनकी तबियत खराब चल रही थी। शनिवार को सुबह अचानक उन्हें हार्ट अटैक आया। उन्हें अस्पताल ले जाया गया लेकिन बचाया नहीं जा सका। जालंधर के देओल नगर में रहने वाले धर्मेंद्र कथक पंजाब के संगीत जगत में बड़ा नाम था। खासकर, क्लासिकल म्यूजिक में कई बड़े गायकों ने उनके जरिए अपनी गायकी को धार दी थी। उनके निधन से म्यूजिक इंडस्ट्री में शोक की लहर है। वहीं, राजनीतिक, सामाजिक व धार्मिक संस्थाओं ने भी उनके निधन पर शोक व्यक्त किया है।

ज्योतिका टांगरी के साथ धर्मेंद्र कथक।

ज्योतिका टांगरी के साथ धर्मेंद्र कथक।

तड़क-भड़क वाले से दूर अब धार्मिक संगीत पर था फोकस

म्यूजिक डायरेक्टर धर्मेंद्र कथक अब तड़क-भड़क वाले संगीत से उब चुके थे। अब वह धार्मिक संगीत की तरफ मुड़ गए थे। कोरोना की वजह से 2020 के मुश्किल हालात के बाद इस साल वह अलग योजना पर काम कर रहे थे। इसमें ‘तेरा-तेरा’ प्रोजेक्ट के जरिए उनकी 1008 नए गायकों के जरिए धार्मिक गीत बनाने की तैयारी चल रही थी। इसके अलावा वह एक और धार्मिक एलबम पर काम कर रहे थे। जिसमें 13 मेल व 13 फीमेल सिंगरों के जरिए गीत तैयार करना था। इसमें मास्टर सलीम, नच्छत्तर गिल, जसपिंदर नरूला व रुपिंदर हांडा को भी शामिल करना था।

उभरते गायकों के देते थे मंच, अब घटा दी थी गिनती

धर्मेंद्र कथक को उभरते गायकों को मंच देने के लिए जाना जाता था। उन्हें क्लासिकल म्यूजिक में ट्रेंड कर वो रियलिटी शो तक पहुंचाते और उनके मुकाबले में बने रहने तक पूरा साथ देते थे। हालांकि अब उन्होंने हर साल सिर्फ 10 बच्चों को तैयार करने का फैसला किया था। उनका मकसद था कि ये वो बच्चे हों, जो सिर्फ संगीत की दुनिया की चकाचौंध से प्रेरित नहीं बल्कि वाकई में संगीत की गहराई में जाना चाहते हों।

गायिका ज्योतिका टांगरी का शोक संदेश।

गायिका ज्योतिका टांगरी का शोक संदेश।

ज्योतिका टांगरी ने जताया शोक

धर्मेंद्र कथक के निधन के बाद ज्योतिका टांगरी ने शोक व्यक्त किया है। उन्होंने कथक को अपना गुरु व गाइड बताते हुए कहा कि मेरी अंगुली पकड़कर चलने वाले धर्मेंद्र सर नहीं रहे। आपकी दी हुई सारी सीख में हमेशा याद रखूंगी। आज आपका शरीर भले हमारे बीच नहीं रहा लेकिन ज्ञान हमेशा जिंदा रहेगा। हर बात में आपकी याद आएगी।

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